फतेहगढ़ चूडियां से लखबीर सिंह लोधीनंगल और डेरा बाबा नानक से रविकरण सिंह काहलों को शिअद का उम्मीदवार घोषित कर 2022 का बिगुल बजा चुनावी माहौल किया गर्म

•लखबीर सिंह लोधीनंगल की बटाला विधान सभा क्षेत्र छोड़ फतेहगढ़ चूडियां क्षेत्र से टिकट लेने की मांग हुई पूरी

न्यूज4पंजाब डेस्क

बटाला। शिरोमणि अकाली दल ने शुक्रवार को जिला गुरदासपुर के विधानसभा हलका डेरा बाबा नानक से रविकरण सिंह काहलों और फतेहगढ़ चूड़ियां से लखबीर सिंह लोधीनंगल को पार्टी उम्मीदवार के रूप में घोषित करके गुरदासपुर में 2022 का चुनावी बिगुल बजाते हुए राजनीतिक माहौल को गर्म कर ‌दिया है। इस घोषणा से पूर्व उक्त दोनों ही क्षेत्रों में उम्मीदवारों के नाम को लेकर अजमंजस ‌की स्थिति बनी हुई थी क्योंकि दोनों ही उम्मीदवारों के लिए दोनों ही विधान सभा क्षेत्र बिल्कुल नए है। दोनों पहली बार इन विधान सभा क्षेत्रों से चुनाव लड़ने जा रहे हैं। पिछले कई महीनों से दोनों ही नेताओं का संघर्ष चल रहा था कि लोधीनंगल बटाला विधान सभा छोड़ फतेहगढ़ चूडियां से चुनाव लड़ना चाहते हैं जबकि पूर्व स्पीकर और वरिष्ट अकाली नेता निर्मल सिंह काहलों के बेटा रविकरण सिंह काहलों अपनी जद्दी क्षेत्र फतेहगढ़ चूडियां से ही चुनाव लड़ने के इच्छुक थे। इस बात को लेकर रविकरण सिंह काहलों ने कई बारे खुले संकेत द‌िए हैं । वहीं दूसरी तरफ डेरा बाबा नानक विधानसभा क्षेत्र में शिरोमणि अकाली दल से उम्मीदवार कौन होगा ,इस पर कई तरह के प्रश्न चिन्ह लगे हुए थे जो शुक्रवार को साफ हो गए। वहीं डेरा बाबा नानक से पिछले लंबे समय से इंद्रजीत सिंह रंधावा,गुरप्रताप सिंह खुशहालपुर और सुच्चा सिंह लंगाह के बेटे सुखजिंदर सोनू लंगाह भी डेरा बाबा नानक से विधान सभा सीट के प्रबल दावेदार थे। लेकिन उक्त सभी को नजरअंदाज करके हाई कमांड ने डेरा बाबा नानक से रविकरण सिंह काहलों को टिकट देकर 2022 के दंगल में उतारा है। उक्त दोनों ‌के बीच कोई ज्यादा मिठास नही है।अब आने वाले समय में देखना होगा कि सुखबीर बादल द्वारा फतेहगढ़ चूडिया से लखबीर सिंह लोधीनंगल और डेरा बाबा नानक से रविकरण सिंह काहलों को टिकट देने का फैसला कितना लाभादायक होगा।

डॉ दलजीत सिंह चीमा के किए टवीट का स्क्रीनशार्ट

वहीं बतां दे कि रविकरण सिंह ‌काहलों जो निर्मल सिंह काहलों के सुपुत्र हैं, माझा जोन यूथ अकाली दल के प्रधान हैं और पहली बार विधान सभा का चुनाव लड़ रहें हैं। वहीं लखबीर सिंह लोधीनंगल का राजनीतिक सफर लंबा हैं और लोधीनंगल बटाला विधान सभा हलका से मौजूदा ‌शिअद के विधायक हैं। लोधीनंगल ने 2007 में वह पहली बार कादियां हल्का से विधायक के रूप में चुने गए थे। इसके बाद 2012 में लोधीनंगल अश्वनी सेखडी से हार गए थे। विधान सभा चुनाव 2017 में लखबीर सिंह लोधीनंगल ने बटाला विधानसभा हलका से 42517 वोट प्रात्त करके कांग्रेस के वरिष्ठ और टकसाली कांग्रेसी नेता अश्विनी सेखड़ी को 485 वोटों से हरा कर बटाला के विधायक बने थे।

वहीं 2017 में विधानसभा क्षेत्र फतेहगढ़ चूड़ियां की बात करें तो मौजूदा कैबिनेट मंत्री तृप्त राजिंदर सिंह बाजवा ने फतेहगढ़ चूडियां से 54348 वोट लेकर 1999 वोटों के अंतर से शिअद के वरिष्ट नेता और पूर्व स्पीकर निर्मल सिंह काहलों को हराया था। अगर बात करें विधानसभा क्षेत्र डेरा बाबा नानक की तो वहां पर 2017 में मौजूदा कैबिनेट मंत्री सुखजिंदर सिंह रंधावा ने अकाली दल के सुच्चा सिंह लंगाह को भारी मतों से हराया था।

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